मप्र की 29 लोकसभा सीटें जीतने 40 स्टार प्रचारक बनाएंगे माहौल, जानिए कौन हैं स्टार प्रचारक ?
बीजेपी के 40 स्टार प्रचारक ये दिग्गज नेता करेंगे प्रचार
मप्र की 29 लोकसभा सीटें जीतने 40 स्टार प्रचारक बनाएंगे माहौल, जानिए कौन हैं स्टार प्रचारक ?
लोकसभा चुनाव का बिगुज बज चुका है। प्रशासन ने आचार संहिता लागू कर चुनाव की तारीखों का ऐलान कर दिया है। राजनैतिक दलों ने प्रत्याशी मैदान में उतार दिए हैं। सत्ताधारी दल भाजपा का काम दो कदम चल रहा है। मप्र की 29 लोकसभा सीटों पर नजर जमाए बैठी पार्टी ने सबसे पहले प्रत्याशियों की सूची जारी की थी। अब इन सीटों पर फतह के लिए 40 स्टार प्रचारकों के नाम भी घोषित कर दिए हैं। इनमें सबसे पहला नाम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का है। इसके बाद दूसरे नंबर पर राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा हैं। तीसरे नंबर पर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, चौथे नंबर पर अमित शाह और पांचवे नंबर पर परिवहन मंत्री नितिन गड़करी हैं। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव को सूची में सातवें नंबर पर जबकि प्रदेशाध्यक्ष वीडी शर्मा आठवें नंबर पर हैं। वहीं मामा के नाम से प्रसिद्ध पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को सूची में चौदहवें नंबर पर रखा गया है। उनके पहले डिप्टी सीएम राजेंद्र शुक्ला, जगदीश देवड़ा, सत्यनारायण जटिया, सतीश उपाध्याय और महेंद्र सिंह को स्थान दिया है।
केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया सूची में सोलहवें नंबर पर हैं। इसके बाद केंद्रीय मंत्री वीरेंद्र कुमार खटीक, फिर फग्गन सिंह कुलस्ते को स्थान दिया है। केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी बीसवें नंबर पर और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ 21 वें नंबर पर हैं। असम के मुख्यमंत्री हेमंत बिस्वा शर्मा 24 वें नंबर पर हैं। सूची में मप्र कैबिनेट के मंत्री प्रहलाद पटैल, कैलाश विजयवर्गीय, तुलसीराम सिलावट, निर्मला भूरिया, ऐदल सिंह कंसाना, पूर्व मंत्री गोपाल भार्गव शामिल हैं। विधानसभा चुनाव हारे पूर्व मंत्री नरोत्तम मिश्रा और कांग्रेस छोड़कर हाल ही में भाजपा का दामन थामने वाले सुरेश पचौरी भी स्टार प्रचारकों की सूची में शामिल हैं। इसके बाद कविता पा
टीदार और अंतिम 40 वें नंबर पर गौरीशंकर बिसेन को जगह दी गई है। 40 स्टार प्रचारकों में केवल तीन महिलाओं को ही जगह मिल सकी है। स्टार प्रचारकों में बड़े चेहरों के साथ ही जातिगत समीकरण साधने की पूरी कोशिश की गई है। सामान्य, पिछड़ा, एससी—एसटी वर्ग का समायोजन किया है। अल्पसंख्यक वर्ग से कोई चेहरा नहीं लिया है। एक तरह से भाजपा ने अपनी चुनावी बिसात बिछा दी है। अब देखना होगा कि 29 सीटों पर 40 दिग्गजों के धुंआधार प्रचार का नतीजा क्या सामने आ