सागर में बागेश्वर महाराज ने कथा के दौरान खुरई का नया नाम दिया बोले मैं अन्नपूर्णा नगरी कहता हूं
सागर में बागेश्वर महाराज ने खुरई का नया नाम दिया अन्नपूर्णा नगरी
सागर में बागेश्वर महाराज ने कथा के दौरान खुरई का नया नाम दिया बोले मैं अन्नपूर्णा नगरी कहता हूं
सागर जिले के खुरई में आयोजित की जा रही श्री हनुमंत कथा के दौरान बागेश्वर धाम पीठाधीश्वर पं. धीरेंद्र शास्त्री ने कहा कि खुरई सामान्य नगरी नहीं है, यहां का गेहूं संपूर्ण राष्ट्र और विश्व को भोजन कराता है और नगर के नाम से पहचाना जाता है। इस नगरी को मैं अन्नपूर्णा नगरी कहता हूं। अब यह अन्नपूर्णा नगरी अगले तीन दिनों तक अयोध्या की तरह प्रतीत होगी, क्योंकि तीन दिनों तक श्री बालाजी हनुमंत लला का चरित्र यहां कथा से प्रवाहित होगा।
उन्होंने कहा कि खुरई के लोगों की भक्ति और श्रद्धा कि हनुमंत जी की कथा के पहले ही जल वर्षा होने लगी। कथा पंडाल के बाहर इंद्रदेवता बरस रहे हैं और अंदर बागेश्वर महाराज बरस रहे हैं। जल के बिना भूमि माता तड़प रही थी, जल नहीं तो सब सूना लग रहा था, बरसात से प्रकृति भी हरी हो गई और अब संस्कृति भी हरी हो गई। भगवान के घर देर है अंधेर नहीं है। उन्होंने कहा कि भक्ति की पहचान नेत्रों से होती है, भगवान को पाने के लिए कभी अभिमान नहीं करना चाहिए और भगवान को पाने के लिए व्यक्ति को स्वाभिमान होना बहुत जरूरी है। व्यक्ति को कभी भी अभिमान में नहीं जीना चाहिए, हमेशा स्वाभिमान में जीना चाहिए। घमंड में कभी भी नहीं रहना चाहिए, अभिमान तो रावण का भी नहीं रहा। 3 दिवसीय हनुमंत कथा के आयोजक नगरीय विकास और आवास मंत्री भूपेंद्र सिंह और उनकी पत्नी सरोज सिंह ने व्यासपीठ पर आसीन बागेश्वर सरकार की आरती की और उनका आशीर्वाद लिया। इस मौके पर बडी संख्या में भक्त मौजूद थे।