उमा भारती ने गाए बुंदेली वैवाहिक गीत, बने दूल्हा छबि देखो भगवान की दुल्हन बनी सिया जानकी, ओरछा में सजा दिव्य राम विवाह महोत्सव!
मध्य प्रदेश के सागर संभाग के निवाड़ी जिले के ओरछा में इस वर्ष आयोजित श्री राम विवाह महोत्सव ने भक्तिभाव, उत्साह और भव्यता का ऐसा संगम प्रस्तुत किया कि हर कोई भावविभोर हो उठा। ऐतिहासिक नगरी ओरछा में भगवान राम और माता जानकी के दिव्य विवाह का दृश्य मानो साक्षात उतर आया हो।
महोत्सव का मुख्य आकर्षण रही पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती, जिन्होंने मंच पर पहुंचकर बुंदेली लोक परंपरा से जुड़े विवाह गीत गाए। जैसे ही उन्होंने मधुर स्वर में गाया—“बने दूल्हा छबि देखो भगवान की, दुल्हन बनी सिया जानकी… हरे बांस मंडप छाए, सिया जी को राम व्याहन आए…” पूरी सभा तालियों, जयकारों और उत्साह से गूंज उठी।
उमा भारती के लोकगीतों ने कार्यक्रम में ऐसा माहौल बना दिया कि हजारों की संख्या में मौजूद श्रद्धालु राम-सिया विवाह के पौराणिक दृश्य में खो गए। बुंदेलखंड की सांस्कृतिक सुगंध से भरे इन गीतों ने हर किसी के हृदय को छू लिया। आयोजित राम-सीता के विवाह के प्रतीकात्मक दृश्य, सजे हुए मंडप, पुष्प वर्षा, मंत्रोच्चार और भक्ति संगीत ने पूरे ओरछा शहर को आध्यात्मिकता से भर दिया। महोत्सव स्थल पर भक्तों की भीड़ उमड़ पड़ी थी, जहाँ हर कोई भगवान राम और माता जानकी के दिव्य मिलन का साक्षी बनने को उत्सुक दिखा।
उमा भारती ने मंच से कहा कि “ओरछा की धरती पर राम विवाह का आयोजन केवल धार्मिक उत्सव नहीं, बल्कि बुंदेलखंड की सांस्कृतिक धरोहर का जीवंत उत्सव है।
कार्यक्रम में विभिन्न धार्मिक संस्थाओं, संत-महात्माओं और सामाजिक संगठनों ने भी हिस्सा लिया। आसपास के जिलों से आए भक्तों ने कहा कि ऐसा भव्य। आयोजन वर्षों बाद देखने को मिला। कई श्रद्धालु भावुक हो गए और भगवान राम-सीता की झांकी देखते हुए भक्ति में डूब गए।
ओरछा का यह राम विवाह महोत्सव न केवल धार्मिक श्रद्धा का प्रतीक बना, बल्कि बुंदेलखंड की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को एक बार फिर से जीवित कर गया। यह महोत्सव आने वाले कई वर्षों तक लोगों की स्मृतियों में जीवंत रहेगा।