कथा में चौथे दिन भक्तों को दिलाया संकल्प ,जगतगुरू केवल परमात्मा ही हैं, उसी का भजन करें बोले- स्वामी हृषीकेष जी महाराज
सागर- राजघाट रोड पर ग्राम मझगुवां अहीर में नीरज तिवारी फार्म हाऊस पर आयोजित संगीतमय श्रीमद्भागवत कथा में चौथे दिन कथा व्यास श्री भक्तिप्रसाद स्वामी हृषीकेष जी महाराज ने कहा कि जगत के जगतगुरू केवल परमात्मा ही हैं उसी का भजन आपको करना है। भगवान तो आपके हृदय में बैठा ही है, भजन करने से आपको भगवान का बोध हो जाएगा। भजन से जो आनंद की अनुभूति होती है, वही भगवान का रूप है। कथा व्यास राजघाट धाम के महंत स्वामी हृषीकेष जी महाराज ने कहा कि शास्त्र में अलग-अलग कामनाओं की पूर्ति के लिए अलग-अलग देवी-देवताओं का विधान किया गया है। आप इन कामनाओं की पूर्ति के लिए जुट जाएंगे तो एक के बाद एक नई-नई कामनाएं आती ही जाएंगी। सभी कामनाओं की पूर्ति कभी भी नहीं हो पाएगी और आपकी उम्र निकल जाएगी, फिर भी आप भिखारी के भिखारी ही बने रहोगे। इसलिए निष्काम होकर परमात्मा का भजन तीव्रता से करना चाहिए इससे आपको सबकुछ तो मिलता ही है, परमपद भी मिल जाता है। आवागमन का चक्र भी छूट जाता है। कथा में चौथे दिन कथाव्यास स्वामी हृषीकेष जी महाराज ने श्रद्धालुओं को भजन का महत्व बताते हुए लोगों को प्रतिदिन कम से कम 5 मिनट भजन करने का संकल्प हाथ उठवाकर दिलाया। जिस पर बड़ी संख्या में मौजूद स्त्री-पुरूष श्रद्धालुओं ने हाथ उठाकर भजन का संकल्प लिया। तब कथा व्यास ने कहा कि आपने व्यास पीठ के सामने संकल्प लिया है तो दृढ़तापूर्वक करें। 5 मिनट का संकल्प भी आपको बहुत कल्याणकारी रहेगा। कथा के मुख्य यजमान रामशंकर तिवारी ने बताया कि पांचवें दिन 24 दिसंबर को कथा में श्रीकृष्ण जन्मोत्सव का गरिमामय आयोजन होगा।